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भक्त तेरे बुलाये हनुमान रे (Bhakt Tere Bulaye Hanuman Re)

भक्त तेरे बुलाये हनुमान रे,

तुझे आज रे,

ओ मेरे बाला बलवान रे,

भक्त तेरे बुलाए हनुमान रे,

तुझे आज रे ओ मेरे बाला ॥


अटके हुए तू सारे कारज बनावे,

कारज बनावे,

पल में नैया पार लगावे,

पार लगावे,

मारुती नंदन हे दुखभंजन,

कर दो भव से पार रे,

भक्त तेरे बुलाए हनुमान रे,

तुझे आज रे ओ मेरे बाला ॥


माँ अंजनी के तुम हो दुलारे,

तुम हो दुलारे,

सियाराम को भी लगते हो प्यारे,

लगते हो प्यारे,

भक्तों के ही बस में आते,

महावीर हनुमान रे,

भक्त तेरे बुलाए हनुमान रे,

तुझे आज रे ओ मेरे बाला ॥


इन नैनो की प्यास बुझा दो,

प्यास बुझा दो,

सोए हुए मेरे भाग्य जगा दो,

भाग्य जगा दो,

जो भी तेरी शरण में आए,

कर दे मालामाल रे,

भक्त तेरे बुलाए हनुमान रे,

तुझे आज रे ओ मेरे बाला ॥


तेरी महिमा सब जग गावे,

सब जग गावे,

शोभा तेरी वर्णी ना जावे,

वर्णी ना जावे,

भक्ति जगाकर ‘अमन’ के दिल में,

देना राम मिलाय रे,

भक्त तेरे बुलाए हनुमान रे,

तुझे आज रे ओ मेरे बाला ॥


भक्त तेरे बुलाये हनुमान रे,

तुझे आज रे,

ओ मेरे बाला बलवान रे,

भक्त तेरे बुलाए हनुमान रे,

तुझे आज रे ओ मेरे बाला ॥


बसंत पंचमी क्या भोग लगाएं

धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, माघ माह के शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि के दिन मां सरस्वती का प्राकट्य हुआ था। इसी कारण से हर वर्ष इस तिथि को वसंत पंचमी के रूप में मनाया जाता है।

दिवाली से पहले हनुमान पूजा

हनुमान पूजा या जयंती को लेकर लोगों के मन में हमेशा संशय रहता है, क्योंकि साल में दो बार हनुमान जयंती मनाई जाती है।

चंद्रदेव की पूजा किस विधि से करें?

हिंदू पंचांग के अनुसार, हर महीने दो पक्ष होते हैं । पहला कृष्ण पक्ष और शुक्ल पक्ष। प्रत्येक पक्ष की अवधि 15 दिन की होती है।

खाटू वाले श्याम हमारे(Khatu Wale Shyam Hamare)

खाटू वाले श्याम हमारे,
भक्तों के तू काज संवारे,

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