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छम छम नाचे हनुमान, बजे रे पग पैजनिया (Cham Cham Nache Hanuman Baje Re Pag Paijaniya)

छम छम नाचे हनुमान,

बजे रे पग पैजनिया,

राम का करे गुणगान,

बजे रे पग पैजनिया,

छम छम नाचें हनुमान,

बजे रे पग पैजनिया ॥


रोम रोम में राम रमाए,

राम में जिनके प्राण समाए,

राम रसिक गुण खान,

बजे रे पग पैजनिया,

छम छम नाचें हनुमान,

बजे रे पग पैजनिया ॥


सोने जैसा सुधड़ सरीरा,

राम काज को रहते अधीरा,

ऐसा बलि बलवान,

बजे रे पग पैजनिया,

छम छम नाचें हनुमान,

बजे रे पग पैजनिया ॥


सुन्दरतम कपि श्रेष्ठ सजीला,

वानर मुख वानर सम लीला,

मारुती की संतान,

बजे रे पग पैजनिया,

छम छम नाचें हनुमान,

बजे रे पग पैजनिया ॥


अष्ट प्रहर ये कष्ट हटाता,

शक्तिमान ये शक्ति का दाता,

बल का का करे ना गुमान,

बजे रे पग पैजनिया,

छम छम नाचें हनुमान,

बजे रे पग पैजनिया ॥


ये पल में ‘राजेंद्र’ बनाए,

योगी राज योगेंद्र कहाए,

कोई ना इनके समान,

बजे रे पग पैजनिया,

छम छम नाचें हनुमान,

बजे रे पग पैजनिया ॥


छम छम नाचे हनुमान,

बजे रे पग पैजनिया,

राम का करे गुणगान,

बजे रे पग पैजनिया,

छम छम नाचें हनुमान,

बजे रे पग पैजनिया ॥

दुर्गा चालीसा पाठ

धार्मिक मान्यता है कि मासिक दुर्गाष्टमी के दिन सच्चे मन से मां दुर्गा की पूजा-अर्चना और व्रत करने से जातक की हर मनोकामना पूरी होती है। इस दिन दुर्गा चालीसा का पाठ जरूर करना चाहिए।

झूलन चलो हिंडोलना, वृषभान नंदनी (Jjhulan Chalo Hindolana Vrashbhanu Nandni)

झूलन चलो हिंडोलना, वृषभान नंदनी,
झूलन चलो हिडोलना, वृषभान नंदनी।

तकदीर मुझे ले चल, मैय्या जी की बस्ती में

दरबार में हर रंग के दीवाने मिलेंगे,
( दरबार में हर रंग के दीवाने मिलेंगे,)

मार्गशीर्ष की अशुभ तिथियां

धार्मिक मान्यता है मार्ग शीर्ष का माह भगवान श्री कृष्ण को अधिक प्रिय माना जाता है। यही वजह है कि इस दौरान तामसिक भोजन ना करने की सलाह भी धार्मिक ग्रंथो में दी जाती है।

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