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वो लाल लंगोटे वाला, माता अंजनी का लाला (Vo Lal Langote Wala Mata Anjani Ka Lala)

वो लाल लंगोटे वाला,
माता अंजनी का लाला,
भक्तों के कष्ट मिटाए,
विपदा को दूर भगाए,
ऐसा तो सालासर वाला है,
भक्तो का रखवाला है ॥

सालासर में देखो,
भवन बना है भारी,
सोने और चांदी की,
चमक अनोखी न्यारी,
मंदिर की छटा निराली,
सुध बुध खो देने वाली,
मंदिर की छटा निराली,
सुध बुध खो देने वाली,
ऐसा तो सालासर वाला है,
भक्तो का रखवाला है ॥

सुन्दरकाण्ड करे जो,
हनुमत खुश हो जाए,
उन पर किरपा है जो,
हनुमान चालीसा गाये,
नित पाठ करे जो इनका,
ये ध्यान रखे है उनका,
नित पाठ करे जो इनका,
ये ध्यान रखे है उनका,
ऐसा तो सालासर वाला है,
भक्तो का रखवाला है ॥

छोड़ो दुनियादारी,
मोह माया को त्यागो,
भक्त शिरोमणि है ये,
भक्ति का वर मांगो,
‘बिन्नू’ भक्ति मिल जाए,
रस्ता रोशन हो जाए,
‘बिन्नू’ भक्ति मिल जाए,
रस्ता रोशन हो जाए,
ऐसा तो सालासर वाला है,
भक्तो का रखवाला है ॥

वो लाल लंगोटे वाला,
माता अंजनी का लाला,
भक्तों के कष्ट मिटाए,
विपदा को दूर भगाए,
ऐसा तो सालासर वाला है,
भक्तो का रखवाला है ॥
महाशिवरात्रि पूजा विधि

महाशिवरात्रि पर ही मां पार्वती व भगवान शिव विवाह के बंधन में बंधे थे। महाशिवरात्रि फाल्गुन माह के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि को मनाई जाती है। महाशिवरात्रि का पर्व भगवान शिव व माता पार्वती को समर्पित है।

हारे के सहारे खाटू श्याम जी (Haare Ke Sahare Khatu Shyam Ji)

हारे के सहारे खाटू श्याम जी,
बिगड़े बना दो आज काम जी,

माँ की लाल रे चुनरिया, देखो लहर लहर लहराए(Maa Ki Laal Re Chunariya Dekho Lahar Lahar Lehraye)

माँ की लाल रे चुनरिया,
देखो लहर लहर लहराए,

प्रदोष व्रत चालीसा

हर माह के शुक्ल और कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि को प्रदोष व्रत रखा जाता है, जो भगवान शिव की पूजा को समर्पित होता है। धार्मिक ग्रंथों के अनुसार प्रदोष व्रत कन्याओं के लिए बेहद खास होता है, इस दिन भोलेनाथ की उपासना करने और व्रत रखने से मनचाहा वर पाने की कामना पूरी होती हैं।