बसंत पंचमी पर बच्चों से कराएं ये उपाय

बसंत पंचमी पर बच्चों से कराएं ये उपाय, पढ़ाई में मिलेगी सफलता 



बसंत पंचमी का त्योहार जो कि हर साल माघ मास की शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि को मनाया जाता है। जो इस साल 2 फरवरी 2025 को मनाया जाएगा। शिक्षा, बुद्धि और कला के क्षेत्र में उन्नति के लिए बेहद शुभ माना जाता है। इस दिन मां सरस्वती की पूजा-अर्चना करने से बच्चों को शिक्षा के क्षेत्र में सफलता और प्रगति मिल सकती है। बसंत पंचमी के दिन कुछ विशेष उपाय करने से बच्चों की बुद्धि तेज हो सकती है और वे शिक्षा के क्षेत्र में तरक्की कर सकते हैं। आइए जानते हैं कि बसंत पंचमी के दिन कौन से उपाय करने से बच्चों को शिक्षा में सफलता मिल सकती है।

बसंत पंचमी पर बच्चों से कराएं ये उपाय 


बसंत पंचमी के दिन कुछ विशेष उपाय करने से बच्चों की बुद्धि तेज हो सकती है और वे शिक्षा के क्षेत्र में तरक्की कर सकते हैं। आइए जानते हैं कि बसंत पंचमी के दिन कौन से उपाय करने से बच्चों को शिक्षा में सफलता मिल सकती है:

लक्ष्य पर फोकस करने के लिए


अगर आपका बच्चा अपने लक्ष्य के प्रति एकाग्रचित पढ़ाई नहीं कर पा रहा है तो मां सरस्वती की तस्वीर स्टडी टेबल के पास रख दें। इससे बच्चे का मन पढ़ाई में लगेगा और साथ ही याद्दाश्त भी अच्छी होगी।

पूजा-अर्चना


अगर आपके बच्चे का मन पढ़ाई में नहीं लगता है तो बसंत पंचमी के दिन बच्चे से देवी सरस्वती की पूजा कराएं। बच्चे के हाथ से पीले फल, फूल, केसर के पीले चावल मां सरस्वती को चढ़ाएं। इससे देवी प्रसन्न होंगी और आपके बच्चे के मानसिक विकास का आशीर्वाद देंगी।

मंत्र का जाप


अगर विद्यार्थी का मन पढ़ाई में नहीं लगता है तो उन्हें मां सरस्वती के मूल मंत्र 'ॐ ऎं सरस्वत्यै ऎं नमः' का जाप करना चाहिए। मंत्र का जाप ब्रह्म वेला में स्वच्छ आसन पर बैठकर पूर्व या उत्तर दिशा की ओर मुख करके करना चाहिए।

दान


बसंत पंचमी के दिन बच्चों से जरूरतमंदों को किताबें और पेन दान कराएं। इससे बच्चे की याद करने की शक्ति तेज होगी और साथ ही मां सरस्वती की कृपा से शिक्षा के क्षेत्र में सफलता मिलेगी।

........................................................................................................
शरण में हम तुम्हारे आ पड़े है (Sharan Mein Hum Tumhare Aa Pade Hai)

शरण में हम तुम्हारे आ पड़े है,
ओ भोले तेरे द्वारे आ पड़े है,

मीन संक्रांति की तिथि और मुहूर्त

मान्यता के अनुसार मीन संक्रांति तब मनाई जाती है जब भगवान सूर्य मीन राशि में प्रवेश करते हैं, और यह फाल्गुन मास की पूर्णिमा के दिन होता है।

प्रदोष व्रत क्यों रखा जाता है?

हिंदू धर्म में प्रदोष व्रत का विशेष महत्व है। दरअसल, यह व्रत देवाधिदेव महादेव शिव को ही समर्पित है। प्रदोष व्रत हर माह में दो बार, शुक्ल और कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि को किया जाता है।

क्षमा करो तुम मेरे प्रभुजी (Kshama Karo Tum Mere Prabhuji)

क्षमा करो तुम मेरे प्रभुजी,
अब तक के सारे अपराध

डिसक्लेमर

'इस लेख में दी गई जानकारी/सामग्री/गणना की प्रामाणिकता या विश्वसनीयता की गारंटी नहीं है। सूचना के विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/धार्मिक मान्यताओं/धर्मग्रंथों से संकलित करके यह सूचना आप तक प्रेषित की गई हैं। हमारा उद्देश्य सिर्फ सूचना पहुंचाना है, पाठक या उपयोगकर्ता इसे सिर्फ सूचना समझकर ही लें। इसके अतिरिक्त इसके किसी भी तरह से उपयोग की जिम्मेदारी स्वयं उपयोगकर्ता या पाठक की ही होगी।