नवीनतम लेख

अगर माँ ने ममता लुटाई ना होती (Agar Maa Ne Mamta Lutai Na Hoti)

अगर माँ ने ममता लुटाई ना होती,

तो ममतामयी माँ कहाई ना होती ॥


द्वारे पे आए माँ हमको निहारो,

सोई हुई तक़दीर संवारो,

अगर माँ की ज्योति जलाई ना होती,

तो ममतामयी माँ कहाई ना होती,

तो ममतामयी माँ कहाई ना होती,

अगर मां ने ममता ॥


हमें क्या पड़ी है हम तुम्हे मनाए,

हमारा तो हक़ है की हम रूठ जाए,

अगर माँ मनाने तू आई ना होती,

तो ममतामयी माँ कहाई ना होती,

तो ममतामयी माँ कहाई ना होती,

अगर मां ने ममता ॥


फटकार देना माँ दुत्कार देना,

मगर भोली माँ लाल को प्यार देना,

अगर माँ ने बिगड़ी बनाई ना होती,

तो ममतामयी माँ कहाई ना होती,

तो ममतामयी माँ कहाई ना होती,

अगर मां ने ममता ॥


अगर माँ ने ममता लुटाई ना होती,

तो ममतामयी माँ कहाई ना होती ॥

फाल्गुन में देवताओं की पूजा

माघ पूर्णिमा के बाद फाल्गुन माह की शुरुआत होती है। हिंदू पंचांग के अनुसार यह हिंदू वर्ष का अंतिम महीना होता है। इसके उपरांत हिन्दू नववर्ष आ जाएगा। फाल्गुन के महीने को फागुन का महीना भी कहा जाता है।

राम तुम्हारा नाम (Ram Tumhara Naam)

राम तुम्हारा नाम
सुखों का सार हुआ

धूम मची है धूम माँ के दर (Dhoom Machi Hai Dhoom Maa Ke Dar)

धूम मची है धूम माँ के दर,
धूम मची है धूम ॥

फाल्गुन अमावस्या 2025 मुहूर्त और पूजा विधि

हिंदू धर्म में अमावस्या तिथि का बहुत अधिक महत्व होता है। फाल्गुन माह में आने वाली अमावस्या तिथि को फाल्गुन अमावस्या कहा जाता है। यह दिन अपने पितरों की आत्मा की शांति के लिए तर्पण, पिंडदान और श्राद्ध कर्म करने के लिए शुभ माना जाता है। लोग पवित्र नदियों में स्नान करते हैं।

यह भी जाने