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भेजा है बुलावा, तूने शेरा वालिए (Bheja Hai Bulava Tune Shera Waliye)

भेजा है बुलावा, तूने शेरा वालिए

ओ मैया तेरे दरबार,

में हाँ तेरे दीदार, कि मैं आऊंगा

कभी न फिर जाऊँगा


भेजा है बुलावा, तूने शेरा वालिए

ओ मैया तेरे दरबार,


शेरावालिये नी, माता ज्योता वालिए

नी सच्चियाँ ज्योता वालिए, लाटा वालिए


भेजा है बुलावा, तूने शेरा वालिए

ओ मैया तेरे दरबार,


तेरे ही दर के हैं हम तो भिखारी,

जाएं कहाँ यह दर छोड़ के, हाँ छोड़के ।

तेरे ही संग बँधी भक्तों ने डोरी,

सारे जहाँ से नाता तोड़ के, हाँ तोड़के ॥


शेरावालिये नी माता ज्योता वालिए

भवना वालिए नी माता लाटा वालिए


भेजा है बुलावा, तूने शेरा वालिए

ओ मैया तेरे दरबार,


फूलों में तेरी ही खुशबु है मैया,

चंदा में तेरी ही चांदनी, हाँ चांदनी ।

तेरे ही नूर से है नैनो की ज्योतियाँ,

सूरज में तेरी ही रौशनी, हाँ रौशनी ॥


शेरावालिये नी, माता ज्योता वालिए

नी सच्चियाँ ज्योता वालिए, लाटा वालिए


भेजा है बुलावा, तूने शेरा वालिए

ओ मैया तेरे दरबार,


भेजा है बुलावा, तूने शेरा वालिए

ओ मैया तेरे दरबार,

में हाँ तेरे दीदार, कि मैं आऊंगा

कभी न फिर जाऊँगा


भेजा है बुलावा, तूने शेरा वालिए

ओ मैया तेरे दरबार,


शेरावालिये नी, माता ज्योता वालिए

नी सच्चियाँ ज्योता वालिए, लाटा वालिए

चैत्र प्रदोष व्रत की तिथियां और मुहूर्त

सनातन धर्म में प्रदोष व्रत का बहुत महत्व है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार प्रदोष व्रत महादेव और माता पार्वती को समर्पित है।

पहली बार गणगौर व्रत कैसे करें

गणगौर व्रत हिंदू धर्म में महिलाओं के लिए विशेष महत्व रखता है। यह व्रत मुख्य रूप से भगवान शिव और माता पार्वती को समर्पित होता है, इसे विवाहित महिलाएं अपने पति की लंबी उम्र और सुखी वैवाहिक जीवन के लिए करती हैं।

बड़ी देर भई नंदलाला (Badi Der Bhai Nandlala)

बड़ी देर भई नंदलाला,
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रंग पंचमी पर इन मंत्रों का करें जाप

रंग पंचमी चैत्र माह के कृष्ण पक्ष की पंचमी तिथि को मनाई जाती है। यह पर्व होली के ठीक पाँच दिन बाद आता है और इसमें रंगों के माध्यम से देवी-देवताओं की आराधना की जाती है।

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