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कहकर तो देख माँ से, दुःख दर्द तेरे दिल के (Kah Kar To Dekh Maa Se Dukh Dard Tere Dil Ke)

कहकर तो देख माँ से,

दुःख दर्द तेरे दिल के,

ये गले से लगा लेगी,

तस्वीर से निकल के,

ये गले से लगा लेगी,

तस्वीर से निकल के ॥


मेरी माँ ये भोला मन,

दया करुणा का है संगम,

गंगा की तरह है पावन,

ये माँ का प्यार अपनापन,

टल जाएगी मुसीबत,

एक बार माँ से मिल के,

ये गले से लगा लेगी,

तस्वीर से निकल के ॥


दुनिया में कही ना देखा,

है माँ का प्यार ऐसा,

तड़प उठता है दिल इसका,

कही पर जो लाल है रोता,

फट जाता है कलेजा,

आँखों से आंसू छलके,

ये गले से लगा लेगी,

तस्वीर से निकल के ॥


कहता ‘सोनू’ गर मानो,

कही भटको ना दीवानों,

है जग जननी यही जानो,

तुम इसकी प्रीत पहचानो,

चाहे तो पल में तेरी,

मैया तक़दीर बदल दे,

ये गले से लगा लेगी,

तस्वीर से निकल के ॥


कहकर तो देख माँ से,

दुःख दर्द तेरे दिल के,

ये गले से लगा लेगी,

तस्वीर से निकल के,

ये गले से लगा लेगी,

तस्वीर से निकल के ॥

वैकुंठ एकादशी पूजा विधि

वैकुंठ एकादशी को सनातन धर्म में बेहद शुभ माना गया है। इसे मुक्कोटी एकादशी, पुत्रदा एकादशी और स्‍वर्ग वथिल एकादशी भी कहते हैं। ऐसी मान्‍यता है कि यह एकादशी व्रत करने से वैकुंठ के द्वार खुलते हैं।

आजा माँ आजा माँ एक बार, मेरे घर आजा माँ (Aaja Maa Aaja Maa Ek Baar Mere Ghar Aaja Maa )

आजा माँ आजा माँ एक बार,
मेरे घर आजा माँ,

मोको कहां ढूंढे रे बंदे(Moko Kahan Dhunde Re Bande)

मोको कहां ढूंढे रे बंदे,
मैं तो तेरे पास में ।

विष्णु सहस्त्रनाम (Vishnu Sahastranam )

ॐ विश्वं विष्णु: वषट्कारो भूत-भव्य-भवत-प्रभुः ।