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बालाजी मुझे अपने, दर पे बुलाना: भजन (Balaji Mujhe Apne Dar Pe Bulana)

बालाजी मुझे अपने,

दर पे बुलाना,

दर्शन से नैनो की,

प्यास बुझाना,

बालाजी मुझे अपना,

दर्शन दिखाना,

बालाजी मुझें अपने,

दर पे बुलाना ॥


ह्रदय में तेरे सियाराम बसे है,

राम सिया का तू है दीवाना,

चरणों में तेरे बाला,

मेरा है ठिकाना,

बालाजी मुझें अपने,

दर पे बुलाना ॥


स्वर्ग से सुन्दर धाम है तेरा,

रामसिया की सेवा काम है तेरा,

राम का तू और तेरा,

जग है दीवाना,

बालाजी मुझें अपने,

दर पे बुलाना ॥


बालाजी मुझे अपने,

दर पे बुलाना,

दर्शन से नैनो की,

प्यास बुझाना,

बालाजी मुझे अपना,

दर्शन दिखाना,

बालाजी मुझें अपने,

दर पे बुलाना ॥

महाकाल की नगरी मेरे मन को भा गई (Mahakal Ki Nagri Mere Maan Ko Bha Gayi)

मेरे भोले की सवारी आज आयी,
मेरे शंकर की सवारी आज आयी,

विनायक चतुर्थी कब है

विनायक चतुर्थी भगवान गणेश जी को समर्पित है। यह प्रत्येक महीने शुक्ल पक्ष की चतुर्थी तिथि को मनाया जाता है। इस दिन भगवान गणेश की पूजा-अर्चना करने से भक्तों की मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं। साथ ही सभी दुखों का नाश होता है।

श्री राधा चालीसा (Shri Radha Chalisa)

श्री राधे वुषभानुजा, भक्तनि प्राणाधार ।
वृन्दाविपिन विहारिणी, प्रानावौ बारम्बार ॥

जपूं नारायणी तेरो नाम (Japu Narayani Tero Naam)

जपूँ नारायणी तेरो नाम,
राणीसती माँ झुँझनवाली,

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