नवीनतम लेख

माँ शारदे वंदना, हे शारदे माँ (Bhajan Maa Sharade Vandana)

हे शारदे माँ, हे शारदे माँ

अज्ञानता से हमें तार दे माँ ।

हे शारदे माँ, हे शारदे माँ

अज्ञानता से हमें तार दे माँ ।


तू स्वर की देवी, ये संगीत तुझसे,

हर शब्द तेरा है, हर गीत तुझसे,

हम हैं अकेले, हम हैं अधूरे,

तेरी शरण मे, हमें प्यार दे माँ ।


हे शारदे माँ, हे शारदे माँ

अज्ञानता से हमें तार दे माँ ।


मुनियों ने समझी, गुणियों ने जानी,

वेदों की भाषा, पुराणों की बानी,

हम भी तो समझें, हम भी तो जानें,

विद्या का हमको, अधिकार दे माँ ।


हे शारदे माँ, हे शारदे माँ

अज्ञानता से हमें तार दे माँ ।


तु श्वेतवर्णी, कमल पे बिराजे,

हाथों में वीणा, मुकुट सर पे साजे,

मन से हमारे, मिटा दे अंधेरे,

हमको उजालों का, संसार दे माँ ।


हे शारदे माँ, हे शारदे माँ

अज्ञानता से हमें तार दे माँ ।

रंगीलो मेरो बनवारी(Rangilo Mero Banwari)

मोहिनी मूरत प्यारी,
रंगीलो मेरो बनवारी,

क्या कुंवारी लड़कियां भी कर सकती हैं प्रदोष व्रत

प्रदोष व्रत हिंदू धर्म में अत्यंत महत्वपूर्ण व्रत है जो भगवान शिव और माता पार्वती की पूजा के लिए समर्पित है। यह व्रत जीवन में सुख-समृद्धि, मनोकामना पूर्ति और कष्टों के निवारण का प्रतीक है। कुंवारी लड़कियों के लिए यह व्रत विशेष रूप से लाभकारी माना है।

गणाधिप संकष्टी चतुर्थी का मुहूर्त

धार्मिक मान्यताओं के अनुसार हिंदू धर्म में किसी भी शुभ कार्य की शुरुआत से पहले गणेश जी की पूजा का विधान है। इसी लिए विघ्नहर्ता और मंगलकर्ता गणेश जी को समर्पित गणाधिप संकष्टी चतुर्थी का व्रत करने व्यक्ति के जीवन में सुख, समृद्धि का बनी रहती है।

मां के दिल जैसा दुनिया में कोई दिल नहीं

दिल दिल दिल दिल दिल..माँ का दिल
दिल दिल दिल..माँ का दिल दिल दिल

यह भी जाने