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मेहंदीपुर सालासर, धाम दोनों अमर: भजन (Mehandipur Salasar Dham Dono Amar)

मेहंदीपुर सालासर,

धाम दोनों अमर,

नित चमत्कार देखो,

यहाँ हो रहा,

रूप हनुमान के,

देख लो ध्यान से,

जिसने दर्शन किए,

वो सुखी हो गया ॥


यहाँ भैरव पलकार,

प्रेत राज सरकार,

तीनो देवो की गूंजे,

यहाँ जय जयकार,

जो भी अर्जी करे,

विघ्न संकट मिटे,

बिना मांगे ही सब कुछ,

उसे मिल गया,

बिना मांगे ही सब कुछ,

उसे मिल गया ॥


काम बन जाते है,

लोग गुण गाते है,

कोई सवामणि लेकर,

यहाँ आते है,

तीनो देवो को भोग,

जब चढ़ाते है लोग,

राम किरपा से वो,

मालामाल हो गया,

राम किरपा से वो,

मालामाल हो गया ॥


इस पहाड़ी पे है,

अंजनी माँ का द्वार,

मिले पंचमुखी हनुमत,

माँ काली का प्यार,

ये गणेशपूरी दास,

पूरी करे सबकी आस,

जो भी भोग लगाए,

सब काम बन गया,

जो भी भोग लगाए,

सब काम बन गया ॥


मेहंदीपुर सालासर,

धाम दोनों अमर,

नित चमत्कार देखो,

यहाँ हो रहा,

रूप हनुमान के,

देख लो ध्यान से,

जिसने दर्शन किए,

वो सुखी हो गया ॥

हे जग स्वामी, अंतर्यामी, तेरे सन्मुख आता हूँ (He Jag Swami Anataryami, Tere Sanmukh Aata Hoon)

हे जग स्वामी, अंतर्यामी,
तेरे सन्मुख आता हूँ ।

बालाजीं मेरी बिगड़ी बना दो मेरे बालाजीं (Balaji Meri Bigdi Bana Do Mere Balaji)

बालाजी बालाजी,
मेरी बिगड़ी बना दो मेरे बालाजीं,

क्यों मनाते हैं माघ पूर्णिमा

सनातन हिंदू धर्म में, पूर्णिमा तिथि जगत के पालनहार भगवान विष्णु को प्रिय है। माघ पूर्णिमा के पर्व को वसंत ऋतू के आगमन के दौरान मनाया जाता है।

गौरा जी को भोले का, योगी रूप सुहाया है(Goura Ji Ko Bhole Ka Yogi Roop Suhaya Hai)

गौरा जी को भोले का,
योगी रूप सुहाया है,