नवीनतम लेख

सपने में सखी देख्यो नंदगोपाल(Sapane Me Sakhi Dekhyo Nandgopal)

सपने में सखी देख्यो नन्दगोपाल,

सावली सूरतिया हाथो मे बाँसुरिया,

और घुँघराले बाल,

​सपने मे सखी देख्यो नन्दगोपाल ॥


व्रंदावन री कुंज गलियन मे,

भागतो दौड़तो देख्यो,

देख्यो री सखी भागतो दौड़तो देख्यो,

जंगल बिच मे गाय चरावतो,

बाध्यो कालो शाल,

​सपने मे सखी देख्यो नन्दगोपाल ॥


सपने में सखी देख्यो नन्दगोपाल,

सावली सूरतिया हाथो मे बाँसुरिया,

और घुँघराले बाल,

​सपने मे सखी देख्यो नन्दगोपाल ॥


लुकतो-छुपतो पनघट ऊपर,

सबकी मटकिया फोड़े,

फोड़े रे सखी सबकी मटकिया फोड़े,

घ- घर जावतो माखन चुरावतो,

प्यारो यशोदा रो लाल,

​सपने मे सखी देख्यो नन्दगोपाल ॥


सपने में सखी देख्यो नन्दगोपाल,

सावली सूरतिया हाथो मे बाँसुरिया,

और घुँघराले बाल,

​सपने मे सखी देख्यो नन्दगोपाल ॥


म्हारे सागे नटखट कन्हैया,

लुक मिचणी खेले सखी री,

वो तो लुक मिचणी खेले,

जद मने पकडयो कृष्ण कन्हाई,

मै तो हो गई न्याल,

​सपने मे सखी देख्यो नन्दगोपाल ॥


सपने में सखी देख्यो नन्दगोपाल,

सावली सूरतिया हाथो मे बाँसुरिया,

और घुँघराले बाल,

​सपने मे सखी देख्यो नन्दगोपाल ॥

माँ के चरणों में ही तो, वो जन्नत होती है(Maa Ke Charno Mein Hi To Vo Jannat Hoti Hai)

जहाँ पे बिन मांगे,
पूरी हर मन्नत होती है,

कब है अखुरथ संकष्टी चतुर्थी

पौष माह के कृष्ण पक्ष की चतुर्थी तिथि को हर वर्ष अखुरथ संकष्टी चतुर्थी मनाई जाती है। दृक पंचांग के अनुसार दिसंबर माह के 18 तारीख को अखुरथ संकष्टी चतुर्थी मनाई जाएगी।

तू मेरा राखा सबनी थाई - गुरुवाणी शब्द कीर्तन (Tu Mera Rakha Sabni Thai)

तू मेरा राखा, सबनी थाई
तां भौ के हा काढा जी,

मैया मोरी मैं नहिं माखन खायो (Maiya Mori Mai Nahi Makhan Khayo)

मैया मोरी मैं नहिं माखन खायो ।

यह भी जाने