नवीनतम लेख

पहिले पहिल हम कईनी

पहिले पहिल हम कईनी,

छठी मईया व्रत तोहर,

छठी मईया व्रत तोहर।।

करिहा क्षमा छठी मईया,

भूल-चूक गलती हमार,

भूल-चूक गलती हमार।।

गोदी के बलकवा के दिहा,

छठी मईया ममता-दुलार,

छठी मईया ममता-दुलार।।

पिया के सनईहा बनईहा,

मैया दिहा सुख सार,

मैया दिहा सुख सार।।

नारियल केरवा घवदवा,

साजल नदिया किनार,

साजल नदिया किनार।।

सुनिहा अरज छठी मैया,

बढ़े कुल परिवार,

बढ़े कुल परिवार।।

घाट सजवली मनोहर,

मैया तोरा भगती अपार,

मैया तोरा भगती अपार।।

लिहि ए अरग हे मैया,

दिहीं आशीष हजार,

दिहीं आशीष हजार।।

पहिले पहिल हम कईनी,

छठीमैया बरत तोहर,

छठीमैया व्रत तोहर।।

करिहा क्षमा छठी मईया

भूल-चूक गलती हमार

भूल-चूक गलती हमार

भूल-चूक गलती हमार







राम को देख कर के जनक नंदिनी (Ram Ko Dekh Ke Janak Nandini)

राम को देख कर के जनक नंदिनी,
बाग में वो खड़ी की खड़ी रह गयी।

गणपति करते चरणों में हम है नमन (Ganpati Karte Charno Mein Hum Hai Naman)

गणपति करते चरणों में हम है नमन,
करे पूजा तुम्हारी सब हो के मगन,

प्रेम हो तो श्री हरि का प्रेम होना चाहिए (Prem Ho to Shri Hari Ka Prem Hona Chahiye)

प्रेम हो तो श्री हरि का प्रेम होना चाहिए
जो बने विषयों के प्रेमी उनको रोना चाहिए

भानु सप्तमी पर सूर्यदेव की पूजा विधि

माघ माह के शुक्ल पक्ष की सप्तमी पर सूर्यदेव की पूजा की जाती है। रथ सप्तमी को भानु सप्तमी और अचला सप्तमी भी कहा जाता है। भानु सप्तमी के दिन भगवान भास्कर की पूजा करने से आरोग्य का वरदान मिलता है।

यह भी जाने