मूषक सवारी लेके, आना गणराजा (Mushak Sawari Leke Aana Ganraja)

मूषक सवारी लेके,

आना गणराजा,

रिद्धि सिद्धि को ले आना,

आके भोग लगाना,

मेरे आंगन में, आंगन में,

मुषक सवारी लेके,

आना गणराजा ॥


लाल सिंदूर का टिका लगा के,

पान और फूल चड़ाउ,

मोदक लडूवन से भर थाली,

तुम को भोग लगाउ,

देख तुम्हारी महिमा निराली,

गाउं बारम्बार हो,

कारज मेरे सब,

शुभ कर जाना,

रिद्धि सिद्धि को ले आना,

आके भोग लगाना,

मेरे आंगन में, आंगन में,

मुषक सवारी लेके,

आना गणराजा ॥


सुख करता तुम,

दुःख के हरता,

सबके प्यारे गणेश हो,

प्यार दुलार हमेशा रहे प्रभु,

ना हो कोई कलेश हो,

सब की नैया पार किये हो,

मुझको भी दो तार,

चरणों में तेरे प्रभु मेरा ठिकाना,

रिद्धि सिद्धि को ले आना,

आके भोग लगाना,

मेरे आंगन में, आंगन में,

मुषक सवारी लेके,

आना गणराजा ॥


मूषक सवारी लेके,

आना गणराजा,

रिद्धि सिद्धि को ले आना,

आके भोग लगाना,

मेरे आंगन में, आंगन में,

मुषक सवारी लेके,

आना गणराजा ॥


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मैया री मैया एक खिलौना दिलवा दे (Maiya Ri Maiya Ek Khilona Dilwa De)

मैया री मैया एक खिलौना-
छोटा सा दिलवा दे

तेरे दर पे ओ मेरी मईया(Tere Dar Pe O Meri Maiya)

तेरे दर पे ओ मेरी मईया,
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श्री गायत्री चालीसा (Sri Gayatri Chalisa)

हीं श्रीं, क्लीं, मेधा, प्रभा, जीवन ज्योति प्रचण्ड ।
शांति, क्रांति, जागृति, प्रगति, रचना शक्ति अखण्ड ॥

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