राम नाम ही सत्य है(Ram Naam Hi Satya Hai )

राम नाम ही सत्य है केवल,

राम का गुणगान करो,

भूल के इस झूठे जग को इक,

पल तो राम का ध्यान धरो,

राम नाम हीं सत्य हैं केवल,

राम का गुणगान करो ॥


जितना चमका ना है चमका,

तन मिट्टी ही होना है,

कुछ चन्दन की लकड़ी आखिर,

बस तेरा ही बिछोना है,

हाड़ मांस की काया है ये,

इस पर ना अभिमान करो,

राम नाम हीं सत्य हैं केवल,

राम का गुणगान करो ॥


मृगतृष्णा की तरह पगले,

किसकी खोज में भटक रहा,

क्षण भंगुर जीवन है तेरा,

किसमे मन ये अटक रहा,

रह जाएगा धरा यहीं पर,

काम क्रोध ना मान करो,

राम नाम हीं सत्य हैं केवल,

राम का गुणगान करो ॥


राम नाम ही साथ चलेगा,

जब तू मरघट जाएगा,

इस दुनिया का हर एक प्यारा,

दूर खड़ा रह जाएगा,

केवल इतना सत्य है ‘शर्मा’,

सत्य से ना अनजान बनो,

राम नाम हीं सत्य हैं केवल,

राम का गुणगान करो ॥


राम नाम ही सत्य है केवल,

राम का गुणगान करो,

भूल के इस झूठे जग को इक,

पल तो राम का ध्यान धरो,

राम नाम हीं सत्य हैं केवल,

राम का गुणगान करो ॥


........................................................................................................
बेटा बुलाए झट दौड़ी चली आए माँ (Beta Bulaye Jhat Daudi Chali Aaye Maa)

मैं नही जानू पूजा तेरी,
पर तू ना करना मैया देरी,

शेरावाली की जय बोलो (Sherowali Ki Jai Bolo)

मेरी मैया शेरोवाली है,
करे भक्तो की रखवाली है,

चैत्र अमावस्या पर करें पितृ सूक्त पाठ

हिंदू धर्म में चैत्र मास की अमावस्या का विशेष महत्व माना गया है। यह दिन पूर्वजों को याद करने और उनकी आत्मा की शांति के लिए श्राद्ध कर्म और तर्पण करने के लिए शुभ माना जाता है।

गुरु पूर्णिमा की पूजा विधि

सनातन धर्म में गुरु ही हमें सही और गलत की समझ देते हैं और अच्छे-बुरे का अंतर सिखाते हैं। गुरुओं की महत्ता हमारी संस्कृति में सदियों से रही है। यहां तक कि गुरु को भगवान से भी ऊँचा दर्जा प्राप्त है।

डिसक्लेमर

'इस लेख में दी गई जानकारी/सामग्री/गणना की प्रामाणिकता या विश्वसनीयता की गारंटी नहीं है। सूचना के विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/धार्मिक मान्यताओं/धर्मग्रंथों से संकलित करके यह सूचना आप तक प्रेषित की गई हैं। हमारा उद्देश्य सिर्फ सूचना पहुंचाना है, पाठक या उपयोगकर्ता इसे सिर्फ सूचना समझकर ही लें। इसके अतिरिक्त इसके किसी भी तरह से उपयोग की जिम्मेदारी स्वयं उपयोगकर्ता या पाठक की ही होगी।