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हे दयामय आप ही संसार के आधार हो (Hey Dayamay Aap Hi Sansar Ke Adhar Ho)

हे दयामय आप ही संसार के आधार हो।

आप ही करतार हो हम सबके पालनहार हो॥


जन्म दाता आप ही माता पिता भगवान हो।

सर्व सुख दाता सखा भ्राता हो तन धन प्राण हो॥


आपके उपकार का हम ऋण चुका सकते नहीं।

बिन कृपा के शांति सुखका सार पा सकते नहीं॥


दीजिये वह मति बने हम सदगुणी संसार में।

मन हो मंजुल धर्मं मय और तन लगे उपकार में॥


हे दयामय आपका हमको सदा आधार हो।

आपके भक्तों से ही भरपूर यह परिवार हो॥


छोड़ देवें काम को और क्रोध को मद लोभ को।

शुद्ध और निर्मल हमारा सर्वदा आचार हो।


प्रेम से मिल मिल के सारे गीत गायें आपके।

मन में बहता आपका ही प्रेम पारावार हो॥


जय पिता जय जय पिता, हम जय तुम्हारी गा रहे॥

रात दिन घर में हमारे आपकी जयकार हो॥


धन धान्य घर में जो सभी कुछ, आप का ही है दिया।

उसके लिये प्रभु आपको धन्यवाद सौ सौ बार हो॥

राधाकृष्ण प्राण मोर युगल-किशोर( RadhaKrishn Prana Mora Yugal Kishor)

राधाकृष्ण प्राण मोर युगल-किशोर ।
जीवने मरणे गति आर नाहि मोर ॥

नर्मदा में स्नान के अद्भुत लाभ

भारतीय संस्कृति में नदियों का महत्व बहुत अधिक है, उन्हें मां का दर्जा दिया जाता है। गंगा नदी के प्रति लोगों की आस्था से अधिकतर लोग परिचित हैं। हालांकि, देश भर में खासकर मध्य प्रदेश में नर्मदा नदी का काफी महत्व है। इस बार 4 फरवरी को नर्मदा जयंती मनाई जा रही है।

माँ अंजनी का प्यारा लाल(Maa Anjani Ka Pyara Lal)

माँ अंजनी का प्यारा लाल,
घोटा हाथ लंगोटा लाल,

ऐसा प्यार बहा दे मैया (Aisa Pyar Baha De Maiya)

या देवी सर्वभूतेषु,
दया-रूपेण संस्थिता ।