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राम आ गए, धन्य भाग्य शबरी हर्षाए(Ram Aa Gaye Dhanya Bhagya Sabari Harshaye)

राम आ गए,

धन्य भाग्य शबरी हर्षाए ॥


आँखों में प्रेम आंसू,

चरणों को धो रही है,

मारे ख़ुशी के शबरी,

व्याकुल सी हो रही है,

क्या लाऊँ क्या खिलाऊँ,

कुछ भी समझ ना आए,

राम आ गये,

धन्य भाग्य शबरी हर्षाए ॥


वन से जो तोड़कर वो,

दोना में बेर लायी,

सकुचा के मन में शबरी,

श्री राम को बढ़ाई,

श्री राम को दिया जब,

तो भी लखन ना खाए,

राम आ गये,

धन्य भाग्य शबरी हर्षाए ॥


राम आ गए,

धन्य भाग्य शबरी हर्षाए ॥

2025 की पहली मासिक दुर्गाष्टमी कब है

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म्हाने जाम्भोजी दीयो उपदेश(Mhane Jambhoji Diyo Upadesh)

म्हाने जाम्भोजी दीयो उपदेश,
भाग म्हारो जागियो ॥

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भगवान इंद्र की पूजा विधि

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