मेरो मन राम ही राम रटे रे (Mero Maan Ram Hi Ram Rate Re)

मेरो मन राम ही राम रटे रे,

राम ही राम रटे रे ॥


राम नाम जप लीजे प्राणी,

कोटिक पाप कटे रे,

राम नाम जप लीजे प्राणी,

कोटिक पाप कटे रे,

जनम जनम के खत जो पुराने,

जनम जनम के खत जो पुराने,

नाम ही लेत फटे रे,

मेरो मन राम ही राम रटें रे,

राम ही राम रटे रे ॥


कनक कटोरे अमृत भरियो,

पीवत कौन नटे रे,

कनक कटोरे अमृत भरियो,

पीवत कौन नटे रे,

मीरा कहे प्रभु हरि अविनाशी,

मीरा कहे प्रभु हरि अविनाशी,

तन मन ताही फटे रे,

मेरो मन राम ही राम रटें रे,

राम ही राम रटे रे ॥


मेरो मन राम ही राम रटे रे,

राम ही राम रटे रे ॥

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यशोदा माँ के होयो लाल, बधाई सारे भक्ता ने (Yasoda Ma Ke Hoyo Laal Badhai Saare Bhagta Ne)

यशोदा माँ के होयो लाल,
बधाई सारे भक्ता ने,

जय हो बाबा विश्वनाथ (Jay Ho Baba Vishwanath)

जय हो बाबा विश्वनाथ,
जय हो भोले शंकर,

उगादी त्योहार क्यों मनाया जाता है

उगादि दक्षिण भारत में एक महत्वपूर्ण नववर्ष उत्सव होता है। "उगादि" शब्द संस्कृत के "युग" अर्थात् "युग की शुरुआत" और "आदि" अर्थात् "आरंभ" से मिलकर बना है, जिसका अर्थ होता है नए युग का आरंभ।

बसंत सम्पात 2025: महत्व और अनुष्ठान

रंग पंचमी हिंदू धर्म में एक महत्वपूर्ण पर्व है, जिसे होली के पांचवें दिन मनाया जाता है। इसे बसंत महोत्सव के रूप में भी जाना जाता है। इस दिन विशेष रूप से भगवान श्रीकृष्ण और राधा रानी की पूजा करने का महत्व बताया गया है।

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