मन चल रे वृन्दावन धाम(Man Chal Re Vrindavan Dham)

मन चल रे वृन्दावन धाम,

राधे राधे गाएंगे,

ओ राधे राधे गाएंगे,

राधे राधे गाएंगे,

तेरा कोड़ी लगे न च दाम,

राधे राधे गाएंगे ॥


वृन्दावन में बाँके बिहारी,

ओढ़ के बैठ्यो कांवलिया काली,

तुझे वही पे मिले विश्राम,

राधे राधे गाएंगे,

मन चल रे वृंदावन धाम,

राधे राधे गाएंगे ॥


वृन्दावन में यमुना किनारा,

निर्मल शीतल बहती है धारा,

तुझे मिल जाये श्यामा श्याम,

राधे राधे गाएंगे,

मन चल रे वृंदावन धाम,

राधे राधे गाएंगे ॥


श्री निधिवन की शोभा है न्यारी,

हरिदास जु के बांके बिहारी,

तेरे बन जाये बिगड़े काम,

राधे राधे गाएंगे,

मन चल रे वृंदावन धाम,

राधे राधे गाएंगे ॥


पागल का पागलपन देखो,

प्रभु की खातिर तन मन देखो,

देखो बरसानो और नंदगाँव,

राधे राधे गाएंगे,

मन चल रे वृंदावन धाम,

राधे राधे गाएंगे ॥


मन चल रे वृन्दावन धाम,

राधे राधे गाएंगे,

ओ राधे राधे गाएंगे,

राधे राधे गाएंगे,

तेरा कोड़ी लगे न च दाम,

राधे राधे गाएंगे ॥


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मां अन्नपूर्णा चालीसा (Maa Annapurna Chalisa)

विश्वेश्वर पदपदम की रज निज शीश लगाय ।
अन्नपूर्णे, तव सुयश बरनौं कवि मतिलाय ।

माँ तू है अनमोल(Maa Tu Hai Anmol)

माँ तू है अनमोल,
जो जाने मेरे बोल,

सो सतगुरु प्यारा मेरे नाल है - शब्द कीर्तन (So Satguru Pyara Mere Naal Hai)

सो सतगुरु प्यारा मेरे नाल है,
जिथे किथे मैनु लै छडाई

भीष्म अष्टमी पर करें गंगा स्नान

भीष्म अष्टमी सनातन धर्म का एक महत्वपूर्ण पर्व है। यह दिन विशेष रूप से पितरों को समर्पित होता है, खासकर उन लोगों के लिए जिनके वंश में संतान नहीं होती। यह पर्व माघ माह के शुक्ल पक्ष की अष्टमी तिथि को मनाया जाता है।

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